देहरादून। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने शनिवार को ऋषिकेश मे मायाकुंड स्थित जनार्दन आश्रम पहुँचकर शंकराचार्य स्वामी माधवाश्रम महाराज की भू समाधि के अवसर पर भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की। मुख्यमंत्री ने कहा कि जगद्गुरु शंकराचार्य महाराज का जीवन भारतीय सनातन परंपरा को समर्पित था।
उन्होंने कहा कि शंकराचार्य स्वामी महाराज ने देश, काल और परिस्थिति के अनुसार समाज को मार्गदर्शन दिया। उनका विविध विषयों पर विशेषाधिकार था। उन्होंने विषम परिस्थितियों में मार्गदर्शन दिया। उनका मार्गदर्शन और शिक्षाएं अविस्मरणीय है। उन्होंने सदमार्ग पर निरंतर चलने की प्रेरणा दी। आज जगद्गुरु शंकराचार्य ने देह त्याग किया तथा भू समाधि ली। उनकी भू समाधि लेने का निर्णय तथा उनकी शिक्षाएं आने वाले समय के लिए आदर्श है। उनके संदेश आने वाले भविष्य के लिए अनुकरणीय है। जगद्गुरु शंकराचार्य का जीवन हमें सदैव प्रेरणा देता रहेगा। मुख्यमंत्री श्री त्रिवेंद्र ने कहा कि भारत की सनातन संस्कृति और परंपरा आज भी जीवंत है क्योंकि इसने व्यापक दृष्टिकोण अपनाते हुए विविध विचारधाराओं को अपने आप में समाहित किया तथा अपनी निरंतरता बनाए रखी। इस अवसर पर विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद अग्रवाल ने भी जगद्गुरु शंकराचार्य को श्रद्धांजलि अर्पित की।
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